सर्वेक्षण को 3 माह के तय समय में पूरा करें : राज्यमंत्री श्रीमती गौर

सर्वेक्षण को 3 माह के तय समय में पूरा करें : राज्यमंत्री श्रीमती गौर
विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय के सर्वेक्षण पर कार्यशाला हुई
भोपाल : 11/6/2025
उप मुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा ने कहा मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के नेतृत्व में राज्य सरकार विमुक्त , घुमन्तु् एवं अर्द्धघुमन्तुम जातियों के सामाजिक आर्थिक विकास के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने इन जातियों के कल्याण की गतिविधियों को पावन कृत्य बताते हुए कहा कि यह गर्व करने योग्य कार्य है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय के आर्थिक, सामाजिक और शैक्षणिक सशक्तिकरण के लिये इन समुदायों का सर्वेक्षण किया जा रहा है। सर्वेक्षण के माध्यम से प्रदेश में निवासरत विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय का डाटा इक्कठा किया जायेगा। इस डाटा के आधार पर इन समुदायों के आर्थिक, सामाजिक विकास के लिये कार्यक्रम बनाये जायेगें और राज्य एवं केन्द्र सरकार जनकल्याणकारी योजनाओं से इन समुदायों को लाभांवित किया जायेगा। राज्य पशुपालन प्रशिक्षण संस्थान में उप मुख्यमंत्री श्री देवड़ा विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय के सर्वेक्षण-2025 पर बुधवार को हुई राज्य स्तरीय कार्यशाला के शुभारंभ सत्र को संबोधित कर रहे थे। उप मुख्यमंत्री श्री देवड़ा ने कहा कि जन अभियान परिषद और विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु कल्याण विभाग के बीच सर्वेक्षण के लिये एमओयू हुआ है। इससे सर्वेक्षण प्रमाणिकता के साथ होगा। उन्होंने कहा कि सर्वे कार्य में लगे कार्य समन्वयक पूरी ईमानदारी एवं गुणवत्तापूर्ण कार्य करेंगे। उप मुख्यमंत्री देवड़ा ने कहा कि घुमन्तु समाज के उत्थान का कार्यक्रम है। यह पुण्य एवं पवित्र कार्य है। उप मुख्यमंत्री देवड़ा ने विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु कल्याण विभाग के कार्य की सराहना भी की। पिछड़ा वर्ग, अल्पसंख्यक कल्याण, विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु कल्याण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्रीमती कृष्णा गौर ने कहा कि विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदायों के परिवारों के समेकित विकास के दृष्टिगत सर्वेक्षण किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पहले चरण में प्रदेश के 12 जिलों में सर्वेक्षण का कार्य होगा और यह कार्य तय समय सीमा 3 माह में पूरा किया जायेगा। सितम्बर में सर्वेक्षण का प्रथम चरण पूरा होने के बाद दूसरे चरण में प्रदेश के शेष जिले में सर्वेक्षण होगा। उन्होंने कहा कि सर्वेक्षण से इन समुदायों की जानकारी एकत्र की जायेगी और जानकारी के आधार पर इन समुदायों के विकास के लिये कार्यक्रम बनाये जायेगे। उन्होंने कहा कि सर्वेक्षण दल यह सुनिश्चित करें की सर्वेक्षण से एक भी परिवार नहीं छूटे। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सर्वेक्षण के लिये दिये गये प्रस्ताव पर तुरंत सहमति दी इसके लिये मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त भी किया। कार्यशाला में क्षेत्रिय प्रमुख घुमन्तु कार्य श्री गौरेलाल जी ने सर्वेक्षण के कार्य की सराहना की। उन्होंने कहा कि वह विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदायों के बीच में पिछले कई वर्षों से कार्य कर रहे है। श्री गौरेलाल जी ने कार्य के दौरान हुए अनुभवों पर आधारित इन समुदायों की समास्याओं से जुड़े अनेक संस्मरण सुनायें और कहा कि इन समुदायों के विकास के लिये व्यवस्थित कार्य योजना जरूरी है और सर्वेक्षण का डाटा महत्वपूर्ण होगा। कार्यशाला को मध्यप्रदेश जन अभियान के उपाध्यक्ष श्री मोहन नागर, अध्यक्ष विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय विकास अभिकरण बाबूलाल बंजारा ने भी संबोधित किया। प्रारंभ में प्रमुख सचिव विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय विकास विभाग ई. रमेश कुमार और कार्य पालक निदेशक जन अभियान परिषद डॉ. बकुल लाड ने कार्यशाला के उद्देश्यों को लेकर जानकारी दी। कार्यशाला में जनअभियान परिषद के कार्यपालक निदेशक डॉ. बकुल लाड और संचालक विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय विकास विभाग श्री नीरज वशिष्ठ ने एमओयू का दस्तावेज एक दूसरे को सौपा। विमुक्त, घुमन्तु और अर्धघुमन्तु समुदाय विभाग द्वारा तैयार किये गये पोस्टर का अतिथियों द्वारा विमोचन भी किया गया।